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झारखंड का पहला मुख्यमंत्री कौन था

झारखंड राज्य जो कि वर्ष 2000 में अस्तित्व में आया का पहला मुख्यमंत्री बनने का गौरव बाबूलाल मरांडी को मिला। बाबूलाल मरांडी ने 15 नवंबर 2000 को झारखंड निर्माण के साथ ही मुख्यमंत्री का पदभार संभाला व 17 मार्च 2003 को इस पद से निवृत हुए। इनके पश्चात अर्जुन मुंडा को झारखंड का दूसरा मुख्यमंत्री बनने का सौभाग्य प्राप्त हुआ।

झारखंड के मुख्यमंत्री पद से निवृत होने के पश्चात बाबूलाल ने वर्ष 2006 में अपनी अलग राजनीतिक पार्टी का निर्माण किया जो झारखंड की क्षेत्रिय पार्टी के रूप में उभरी। इस पार्टी का नाम झारखंड विकास मोर्चा रखा गया। बाबूलाल की शुरू से ही झारखंड की राजनीति पर अटूट पकड़ रही है अपनी पार्टी बनाने से पूर्व ये भारतीय जनता पार्टी के झारखंड राजनीतिक रण की अगुवाई कर चुके हैं। इसलिए शुरू से ही झारखंड की जनता का सहयोग इन्हें मिलता रहा है। 15 नवंबर 2000 को बिहार से अलग होकर 79,710 वर्ग किलो मीटर क्षेत्रफल में फैले झारखंड राज्य को खनिजों का भंडार कहा जाता है इसलिए खनिज महत्व के कारण यह राज्य सदैव से आर्थिक केंद्र बनने की ओर अग्रसर रहा है।

झारखंड राज्य का निर्माण भारत की आजादी के तिरेपन वर्ष बाद हुआ था जिस कारण इसकी विकास को तीव्र रफ्तार देना अनिवार्य था बाबूलाल मरांडी के नेतृत्व में यह कार्य भली भांति हुआ। बाबूलाल का जन्म 11 जनवरी 1958 को गुरिडीह में हुआ था जो उस समय बिहार का हिस्सा था तथा झारखंड के बिहार से अलग होने के बाद यह स्थान झारखंड की सीमाओं के अंदर आ गया।

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